हाइलाइट्स
- कालू की मौत ने उठाए हत्या या आत्महत्या के गंभीर सवाल
- घटनास्थल से मिला रहस्यमयी नोट – “तू तो मरेगा कालू”
- पिता ने पड़ोसी डॉक्टर दिनेश शर्मा पर लगाया हत्या का आरोप
- घटना से पहले दिनेश ने कालू को रोते हुए धमकाते वीडियो दिखाया
- पोस्टमॉर्टम और एफएसएल रिपोर्ट का इंतजार, आरोपी फरार
कालू की मौत: आत्महत्या या सुनियोजित हत्या?
राजस्थान के सिरोही जिले के रेवदर कस्बे में कालू की मौत ने पूरे इलाके को हिला कर रख दिया है। 17 वर्षीय छात्र रविंद्र सिंह उर्फ कालू, जो कि 12वीं कक्षा का होनहार छात्र था, का शव घर की तीसरी मंजिल पर पंखे से लटका मिला। पहले नजर में यह आत्महत्या का मामला लगा, लेकिन घटनास्थल की स्थिति, एक संदिग्ध नोट और परिवार द्वारा लगाए गए आरोपों ने कालू की मौत को हत्या की ओर संकेत कर दिया है।
संदिग्ध हालात में मिला शव
पंखे से लटका मिला शव, लेकिन घुटने जमीन से छू रहे थे
पुलिस और परिवार के अनुसार, जब रविंद्र का शव मिला, तो वह ऊनी कंबल से बने फंदे से लटका हुआ था, लेकिन उसके घुटने जमीन से टच कर रहे थे और पैरों की मुद्रा भी सामान्य नहीं थी। इससे यह संदेह और गहरा गया कि कहीं यह शव बाद में तो नहीं लटकाया गया?
धमकी भरा वीडियो बना पहेली की जड़
दिनेश शर्मा ने दिखाया था डरावना वीडियो
घटना के चंद घंटे पहले रविंद्र के पिता धर्मवीर सिंह की दुकान पर पड़ोसी डॉक्टर दिनेश शर्मा अपने एक साथी के साथ पहुंचे थे। उन्होंने मोबाइल पर एक वीडियो दिखाया जिसमें कालू बुरी तरह सहमा हुआ और रोते हुए नजर आ रहा था। वीडियो में दिनेश और उसका साथी उसे धमका रहे थे।
इस वीडियो के बाद दिनेश वहां से चला गया और कुछ ही देर में वह और उसका साथी रविंद्र के घर पहुंचे। जब घर की महिलाएं बाजार से लौटीं तो देखा कि दोनों घर के अंदर मौजूद थे। यह बात खुद परिवार को खटकने लगी।
“तू तो मरेगा कालू”: यह लाइन डराती है
नोटबुक में मिला रहस्यमयी संदेश
कालू के कमरे में एक पेज मिला जिस पर मोटे अक्षरों में लिखा था — “तू तो मरेगा कालू”। इस पंक्ति ने पूरी कहानी को नया मोड़ दे दिया। यह स्पष्ट नहीं हो सका कि यह लाइन कालू ने खुद लिखी या उसे धमकाने के लिए कोई छोड़ गया।
क्या यह आत्महत्या से पहले लिखा गया एक संकेत था? या फिर यह किसी ने जानबूझकर हत्या की पटकथा को आत्महत्या जैसा दिखाने के लिए लिखा?
कालू की मौत: एक पूर्व नियोजित साजिश?
महिलाओं को बाजार भेजना, अकेले लौटना और मौके पर पहुंचना – सब था सुनियोजित?
परिवार का आरोप है कि डॉक्टर दिनेश शर्मा की पत्नी कविता, जो उसी घर में रहती है, ने घटना के दिन परिवार की महिलाओं को बाजार ले जाने की पेशकश की और फिर उनसे पहले अकेली लौट आई।
पिता धर्मवीर सिंह का कहना है कि यह सब एक सुनियोजित साजिश थी ताकि घर को खाली किया जा सके और कालू की मौत को अंजाम दिया जा सके।
पुलिस की जांच और कार्रवाई
एफएसएल और एमओबी की टीम पहुंची मौके पर
घटना की गंभीरता को देखते हुए पुलिस ने फॉरेंसिक साइंस लैब (FSL) और मोबाइल ऑपरेशन टीम (MOB) को घटनास्थल पर बुलाया है। शव को मेडिकल बोर्ड की निगरानी में पोस्टमॉर्टम के लिए भेजा गया है।
थानाधिकारी और सीओ ने की मौके की जांच
रेवदर थानाधिकारी सीताराम ने कहा कि “कालू की मौत के हर पहलू की जांच की जा रही है। पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट और एफएसएल रिपोर्ट के बाद ही आगे की कार्रवाई की जाएगी।” सोमवार को सीओ मनोज गुप्ता भी मौके पर पहुंचे और निरीक्षण किया।
आरोपी फरार, पुलिस कर रही तलाश
घटना के बाद से डॉक्टर दिनेश शर्मा और उसका साथी फरार हैं। पुलिस की टीमें लगातार दबिश दे रही हैं। आसपास के इलाकों और सीमावर्ती क्षेत्रों में भी उनकी तलाश की जा रही है।
ग्रामीणों में गम और गुस्सा
अस्पताल और घर के बाहर भारी भीड़
कालू की मौत के बाद पूरे रेवदर कस्बे में शोक और आक्रोश का माहौल है। स्थानीय लोग घर और हॉस्पिटल के बाहर जमा हो गए हैं। हालात तनावपूर्ण होने के कारण पुलिस को अतिरिक्त बल तैनात करना पड़ा।
नाबालिग छात्र की मौत से कई सवाल
क्या सच में कालू ने आत्महत्या की?
- वीडियो में क्यों डर रहा था कालू?
- “तू तो मरेगा कालू” नोट किसने लिखा?
- दिनेश और उसका साथी मौके पर कैसे पहुंचे?
- महिलाओं को बाजार क्यों भेजा गया?
इन तमाम सवालों का जवाब फिलहाल अधूरा है। कालू की मौत केवल एक पारिवारिक त्रासदी नहीं, बल्कि रेवदर जैसे शांत कस्बे के लिए भी एक झटका है।
जांच के बाद खुलेगा सच्चाई का परदा
कालू की मौत की कहानी जितनी सीधी लगती है, उतनी है नहीं। यह मामला न सिर्फ पुलिस की सूझबूझ बल्कि समाज की सतर्कता की भी परीक्षा है। यदि यह हत्या है, तो दोषियों को जल्द से जल्द पकड़ना जरूरी है। और अगर आत्महत्या है, तो यह जानना और भी जरूरी होगा कि कालू जैसे युवा को ऐसा कदम उठाने के लिए क्या मजबूर किया गया