हाइलाइट्स
- Bank Scam से जुड़ा दिल्ली पुलिस का बड़ा खुलासा, माइनिंग इंजीनियरिंग डिप्लोमा होल्डर निकला गैंग का मास्टरमाइंड
- जामताड़ा से साइबर ठगी ऑपरेट कर रहा था गिरोह, KYC अपडेट के नाम पर करता था बैंक अकाउंट हैक
- ठगों ने दिल्ली की महिला से 8.1 लाख रुपये की ठगी की, पुलिस ने कड़ी जांच के बाद आरोपी को पकड़ा
- फर्जी दस्तावेजों से सिम कार्ड एक्टिवेट कर बनाते थे फर्जी बैंक कॉलर, मोबाइल को रिमोट एक्सेस पर लेते
- Bank Scam से लूटे गए पैसों से खरीदे गए थे iPhone, MacBook, जिससे ट्रेसिंग हुई और भी मुश्किल
दिल्ली पुलिस की साइबर सेल की बड़ी कार्रवाई: Bank Scam का पर्दाफाश
दिल्ली पुलिस की साइबर सेल ने हाल ही में एक बड़े Bank Scam का पर्दाफाश किया है, जिसमें एक ऐसा मास्टरमाइंड पकड़ा गया है, जिसने तकनीकी शिक्षा के बावजूद अपराध की राह पकड़ी। आरोपी अनिल कुमार मंडल, जिसने माइनिंग इंजीनियरिंग में डिप्लोमा किया हुआ है, झारखंड के कुख्यात साइबर ठगी हब जामताड़ा से यह पूरा नेटवर्क चला रहा था।
यह मामला न सिर्फ दिल्ली की एक महिला से 8.1 लाख रुपये की ठगी तक सीमित रहा, बल्कि इससे जुड़े खुलासे ने पूरे देश के बैंक ग्राहकों को सतर्क कर दिया है।
कैसे काम करता था ये Bank Scam गैंग?
खुद को बताते थे बैंक अधिकारी
साइबर ठगों का यह गैंग पहले खुद को किसी प्रतिष्ठित बैंक का अधिकारी बताकर लोगों को कॉल करता था। ये कॉल्स इस कदर विश्वसनीय लगती थीं कि ज्यादातर लोग झांसे में आ जाते थे।
KYC अपडेट के नाम पर मांगी जाती थी जानकारी
जालसाज ग्राहकों को बताते कि उनका KYC अपडेट नहीं है और अगर जल्द अपडेट नहीं किया गया, तो उनका खाता बंद हो जाएगा। इसी डर से लोग जानकारी देने लगते थे।
मोबाइल को रिमोट एक्सेस पर ले लेते थे
Bank Scam के दौरान सबसे खतरनाक पहलू यह था कि साइबर ठग मोबाइल फोन को रिमोट एक्सेस पर ले लेते थे। इसके लिए वे Anydesk या QuickSupport जैसे ऐप्स का सहारा लेते।
फिर शुरू होता था बैंक लूट का खेल
एक बार जब मोबाइल का नियंत्रण उनके हाथ में होता, तो वे ग्राहक के बैंक ऐप्स, OTPs और मैसेज तक की निगरानी करते। और फिर मिनटों में खाता खाली कर देते।
Bank Scam के जरिए उड़ाए गए पैसों से खरीदे Apple डिवाइस
पुलिस जांच में यह भी सामने आया कि Bank Scam से मिले पैसों का इस्तेमाल आरोपी ने iPhone और MacBook जैसे महंगे इलेक्ट्रॉनिक्स खरीदने में किया। इससे ठगी के पैसों का ट्रेसिंग और जटिल हो गया, क्योंकि ये प्रोडक्ट्स अलग-अलग राज्यों से खरीदे गए थे।
दिल्ली महिला की शिकायत से खुला राज़
दिल्ली की रहने वाली एक महिला ने जब पुलिस में 8.1 लाख रुपये की ठगी की शिकायत दर्ज कराई, तभी इस पूरे Bank Scam नेटवर्क की जांच शुरू हुई।
पुलिस ने कॉल डिटेल्स, ट्रांजैक्शन हिस्ट्री, मोबाइल IP और बैंक अकाउंट मूवमेंट को ट्रैक किया। इसके बाद जांच की सुई सीधे झारखंड के जामताड़ा पहुंची, जिसे भारत का साइबर फ्रॉड कैपिटल कहा जाता है।
फर्जी दस्तावेज, फर्जी सिम और Proxy Network
गिरोह की योजना थी बहुत पेशेवर
Bank Scam के इस पूरे मामले की खास बात यह रही कि आरोपी और उसके सहयोगी बेहद प्रोफेशनल तरीके से काम कर रहे थे।
- फर्जी आधार कार्ड और पैन कार्ड से सिम कार्ड एक्टिवेट करना
- फर्जी नाम से बैंक अकाउंट खुलवाना
- Proxy और VPN के जरिए ट्रेसिंग से बचना
इन सब तकनीकों का इस्तेमाल इस गिरोह ने किया।
आखिरकार मास्टरमाइंड पहुंचा सलाखों के पीछे
लगातार महीनों की छानबीन और इलेक्ट्रॉनिक सर्विलांस के बाद पुलिस ने अनिल कुमार मंडल को गिरफ्तार किया। उसने पूछताछ में माना कि वह Bank Scam से जुड़े कई गिरोहों के लिए ट्रेनिंग भी देता था।
पुलिस की चेतावनी: KYC और Bank Scam से बचें ऐसे
दिल्ली पुलिस ने Bank Scam के इस मामले के बाद आम जनता को चेतावनी दी है:
- कभी भी अनजान कॉलर्स को अपने बैंक या KYC डिटेल्स न दें
- बैंक कभी फोन पर KYC अपडेट नहीं मांगता
- किसी को भी Anydesk या अन्य रिमोट एक्सेस ऐप्स से मोबाइल एक्सेस न दें
- OTP या बैंक मैसेज किसी के साथ शेयर न करें
डिजिटल सुरक्षा की जिम्मेदारी हमारी भी
Bank Scam जैसी घटनाएं आज के समय में बेहद आम हो चुकी हैं, लेकिन इसकी रोकथाम तकनीकी जानकारी और सतर्कता से ही संभव है। पुलिस और साइबर सुरक्षा एजेंसियां अपने स्तर पर लगातार कार्रवाई कर रही हैं, लेकिन यदि आम लोग सचेत न रहें, तो अपराधी नए-नए तरीके ढूंढ ही लेते हैं।
Bank Scam अब एक क्षेत्रीय समस्या नहीं, बल्कि राष्ट्रीय स्तर की चुनौती बन चुकी है