हाइलाइट्स:
- Waqf Amendment Act को लेकर पूर्व सांसद मौहम्मद अदीब ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर झूठ बोलने का आरोप लगाया।
- संसद में पारित इस अधिनियम के खिलाफ देशभर में मुस्लिम संगठनों और विपक्षी दलों ने विरोध प्रदर्शन किए।
- अधिनियम के तहत वक्फ बोर्डों में गैर-मुस्लिम सदस्यों की नियुक्ति और सरकारी निगरानी बढ़ाने का प्रावधान है।
- पश्चिम बंगाल के मुर्शिदाबाद में विरोध प्रदर्शन हिंसक हो गए, जिसमें कई लोगों की मौत हुई और संपत्ति को नुकसान पहुंचा।
- सुप्रीम कोर्ट में अधिनियम की संवैधानिक वैधता को चुनौती देने वाली कई याचिकाएं दायर की गई हैं।
वक्फ संशोधन अधिनियम 2025: मुस्लिम समुदाय की धार्मिक स्वतंत्रता पर खतरा?
पृष्ठभूमि
भारत सरकार ने हाल ही में Waqf Amendment Act पारित किया है, जो वक्फ संपत्तियों के प्रबंधन में महत्वपूर्ण बदलाव लाता है। इस अधिनियम के तहत वक्फ बोर्डों में गैर-मुस्लिम सदस्यों की नियुक्ति और सरकारी निगरानी बढ़ाने का प्रावधान है। सरकार का दावा है कि यह कदम पारदर्शिता और जवाबदेही सुनिश्चित करने के लिए उठाया गया है, जबकि आलोचकों का कहना है कि यह मुस्लिम समुदाय की धार्मिक स्वतंत्रता पर हमला है।
भारत के इतिहास में नरेंद्र मोदी जैसा झूठा प्रधानमंत्री आजतक नहीं हुआ: पूर्व सांसद मौहम्मद अदीब ने वक्फ के मुद्दे पर कहा.#WaqfAmendmentAct #Modi #Muslim
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अधिनियम की प्रमुख विशेषताएं
- गैर-मुस्लिम सदस्यों की नियुक्ति: वक्फ बोर्डों में अब गैर-मुस्लिम सदस्य भी नियुक्त किए जा सकते हैं, जिससे मुस्लिम समुदाय की धार्मिक संपत्तियों के प्रबंधन में बाहरी हस्तक्षेप बढ़ेगा।
- सरकारी निगरानी: सरकार को वक्फ संपत्तियों के पंजीकरण, लेखा परीक्षा और विवादों के निपटारे में अधिक अधिकार मिलेंगे।
- महिला प्रतिनिधित्व: केंद्रीय वक्फ परिषद और राज्य वक्फ बोर्डों में कम से कम दो मुस्लिम महिलाओं की नियुक्ति अनिवार्य की गई है।
- विवादों का निपटारा: वक्फ ट्रिब्यूनल के निर्णयों को उच्च न्यायालय में 90 दिनों के भीतर चुनौती दी जा सकती है।
विरोध और आलोचना
अधिनियम के खिलाफ मुस्लिम संगठनों और विपक्षी दलों ने तीव्र विरोध जताया है। पूर्व सांसद मौहम्मद अदीब ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर झूठ बोलने का आरोप लगाया और कहा कि यह अधिनियम मुस्लिम समुदाय के अधिकारों का हनन है। अखिल भारतीय मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड (AIMPLB) ने इसे असंवैधानिक और अल्पसंख्यकों के अधिकारों के खिलाफ बताया है।
मुर्शिदाबाद में हिंसक प्रदर्शन
पश्चिम बंगाल के मुर्शिदाबाद जिले में अधिनियम के खिलाफ प्रदर्शन हिंसक हो गए, जिसमें तीन लोगों की मौत हो गई और कई घायल हुए। प्रदर्शनकारियों ने पुलिस वाहनों को आग लगा दी और रेलवे स्टेशन पर पथराव किया। स्थिति को नियंत्रित करने के लिए केंद्रीय बलों की तैनाती की गई और इंटरनेट सेवाएं निलंबित कर दी गईं।
सुप्रीम कोर्ट में चुनौती
अधिनियम की संवैधानिक वैधता को चुनौती देने वाली कई याचिकाएं सुप्रीम कोर्ट में दायर की गई हैं। कोर्ट ने केंद्र सरकार से जवाब मांगा है और आदेश दिया है कि अगली सुनवाई तक किसी भी वक्फ संपत्ति को डिनोटिफाई या हस्तांतरित नहीं किया जाएगा।
Waqf Amendment Act ने देश में एक नई बहस को जन्म दिया है, जिसमें धार्मिक स्वतंत्रता, अल्पसंख्यकों के अधिकार और सरकार की भूमिका पर सवाल उठाए जा रहे हैं। यह देखना महत्वपूर्ण होगा कि सुप्रीम कोर्ट इस अधिनियम पर क्या निर्णय लेता है और सरकार किस प्रकार से मुस्लिम समुदाय की चिंताओं का समाधान करती है।