क्या 10 दिन बाद पीएम मोदी लेंगे रिटायरमेंट? राष्ट्रपति मुर्मू से मुलाकात के बाद बढ़ी हलचल, सच्चाई चौंका देगी

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हाइलाइट्स

  • पीएम मोदी और राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू की मुलाकात ने पीएम मोदी रिटायरमेंट की अटकलों को हवा दी
  • 17 सितंबर को पीएम मोदी 75 साल के हो जाएंगे, जिससे राजनीतिक बहस तेज
  • संघ प्रमुख मोहन भागवत के हालिया बयान से भी चर्चाएं और तेज हुईं
  • राष्ट्रपति भवन ने तस्वीर साझा की, जिसके बाद सियासी गलियारों में हलचल
  • विदेश दौरे और कूटनीतिक बैठकों के बाद पीएम मोदी ने राष्ट्रपति को दी जानकारी

राष्ट्रपति भवन पहुंचने पर उठे सवाल

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शनिवार को राष्ट्रपति भवन जाकर राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू से मुलाकात की। इस मुलाकात के तुरंत बाद से राजनीतिक हलकों में एक बार फिर से पीएम मोदी रिटायरमेंट को लेकर कयास लगने लगे। राष्ट्रपति भवन की ओर से सोशल मीडिया पर तस्वीर साझा की गई, जिसके बाद हलचल और तेज हो गई।

राजनीतिक विश्लेषक मान रहे हैं कि 17 सितंबर को पीएम मोदी 75 साल के होने जा रहे हैं और यही वह उम्र है, जिसे बीजेपी और आरएसएस की राजनीति में एक अहम टर्निंग प्वाइंट माना जाता है।

75 की उम्र और रिटायरमेंट की परंपरा

बीजेपी के दिग्गजों का उदाहरण

भारतीय जनता पार्टी में यह परंपरा देखी गई है कि 75 साल की उम्र पूरी करने वाले नेता सक्रिय राजनीति से धीरे-धीरे अलग हो जाते हैं। लालकृष्ण आडवाणी और मुरली मनोहर जोशी जैसे दिग्गज नेताओं को इसी आधार पर मार्गदर्शक मंडल में भेजा गया था। ऐसे में अब पीएम मोदी रिटायरमेंट को लेकर चर्चाएं होना स्वाभाविक है।

संघ प्रमुख का बयान और हलचल

कुछ दिन पहले आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत ने भी कहा था कि 75 की उम्र में व्यक्ति को जिम्मेदारियों से मुक्त हो जाना चाहिए। हालांकि, बाद में उन्होंने स्पष्ट किया कि उनका यह बयान मोरोपंत पिंगले के संदर्भ में था। इसके बावजूद सियासी चर्चाओं को इस बयान ने और हवा दी।

क्या केवल औपचारिक मुलाकात थी?

विदेश नीति से जुड़ा अपडेट

पीएम मोदी हाल ही में चीन में आयोजित एससीओ समिट से लौटे हैं। आमतौर पर परंपरा रही है कि प्रधानमंत्री किसी भी अंतरराष्ट्रीय मंच से लौटने पर राष्ट्रपति को वहां की जानकारी देते हैं। ऐसे में यह मुलाकात केवल एक औपचारिक संवाद भी हो सकती है।

फ्रांस से कूटनीतिक बातचीत

इसी दिन पीएम मोदी ने फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों से भी टेलीफोन पर बातचीत की। दोनों नेताओं ने यूक्रेन युद्ध और द्विपक्षीय संबंधों पर विचार साझा किए। इन मुलाकातों के बीच राष्ट्रपति भवन जाकर मुलाकात करने से पीएम मोदी रिटायरमेंट की अटकलें और अधिक गहराई पकड़ गईं।

राजनीतिक गलियारों की धड़कन

विपक्ष की नजर

विपक्षी दलों ने भी इस घटना को तुरंत राजनीतिक चश्मे से देखना शुरू कर दिया। विपक्षी नेताओं का कहना है कि बीजेपी की राजनीति में 75 की उम्र का मापदंड पहले से तय रहा है, ऐसे में अब पीएम मोदी रिटायरमेंट से जुड़ी चर्चाएं बेवजह नहीं हैं।

बीजेपी की प्रतिक्रिया

हालांकि, बीजेपी नेताओं का कहना है कि पीएम मोदी की कार्यशैली और उनकी लोकप्रियता को देखते हुए ऐसे किसी भी कयास का कोई आधार नहीं है। उनका मानना है कि प्रधानमंत्री अभी भी पूर्ण सक्रियता के साथ देश का नेतृत्व कर रहे हैं और 2029 तक उनकी भूमिका अहम बनी रहेगी।

क्या होगा आगे?

17 सितंबर की तारीख अहम

सभी की निगाहें अब 17 सितंबर पर टिकी हुई हैं, जब पीएम मोदी 75 साल के हो जाएंगे। उस दिन तक यह तय होगा कि क्या सच में पीएम मोदी रिटायरमेंट से जुड़ी अटकलों में कोई सच्चाई है या यह केवल राजनीतिक चर्चाओं का हिस्सा है।

जनता की उत्सुकता

जनता भी इस मसले पर बंटी हुई नजर आ रही है। कुछ लोग मानते हैं कि पीएम मोदी उम्र के बावजूद सक्रिय रहेंगे, जबकि कुछ का मानना है कि बीजेपी अपने स्थापित नियमों का पालन करेगी।

राष्ट्रपति भवन में हुई यह मुलाकात भले ही कूटनीतिक औपचारिकता हो, लेकिन जिस तरह से पीएम मोदी रिटायरमेंट की चर्चाएं गर्म हो गई हैं, वह भारतीय राजनीति की जटिलता को दर्शाती हैं। अब आने वाला समय ही बताएगा कि क्या प्रधानमंत्री मोदी भी बीजेपी की तय परंपरा का हिस्सा बनेंगे या अपने लिए एक अलग राह बनाएंगे।

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