हाइलाइट्स
- राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन प्राधिकरण ने अगले 3 घंटों के लिए जारी की गंभीर मौसम चेतावनी
- हरदोई, लखीमपुर-खीरी, शाहजहांपुर, सीतापुर जिलों में आंधी के साथ बिजली गिरने और तेज बारिश की संभावना
- नागरिकों को घर में रहने और गैर-ज़रूरी यात्रा से बचने की सलाह
- खेतों में काम कर रहे किसानों और खुले में मौजूद लोगों को विशेष सतर्कता बरतने की हिदायत
- जिले के प्रशासन को हाई अलर्ट पर रहने के निर्देश, बचाव दल तैयार
राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन प्राधिकरण का अलर्ट: क्या कहती है चेतावनी?
देश की आपदा प्रतिक्रिया इकाई, राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन प्राधिकरण (NDMA), ने 5 अगस्त को एक तत्काल चेतावनी जारी की है। चेतावनी के अनुसार, उत्तर प्रदेश के चार जिलों – हरदोई, लखीमपुर-खीरी, शाहजहांपुर और सीतापुर – में अगले 3 घंटों के भीतर तेज़ बारिश, आंधी और बिजली गिरने की गंभीर संभावना है।
यह चेतावनी भारतीय मौसम विभाग (IMD) से प्राप्त आंकड़ों और सैटेलाइट डेटा के आधार पर दी गई है। राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन प्राधिकरण ने इसे “गंभीर मौसम परामर्श” के रूप में वर्गीकृत किया है और स्थानीय प्रशासन को तत्काल कार्यवाही के निर्देश दिए हैं।
मौसम का विज्ञान: क्यों हो रही है यह तेज़ मौसमी गतिविधि?
उत्तर भारत के मध्यवर्ती क्षेत्रों में बनी एक सक्रिय मानसूनी ट्रफ और बंगाल की खाड़ी से आ रही नमी युक्त हवाओं के कारण वातावरण में अस्थिरता पैदा हो रही है। यह अस्थिरता ही तेज़ आंधी, बारिश और बिजली गिरने जैसी घटनाओं को जन्म देती है।
विशेषज्ञों के अनुसार, जब वातावरण में तापमान अधिक हो और आर्द्रता भी उच्च स्तर पर हो, तब गरज-चमक और बिजली गिरने की घटनाएं तेज़ी से बढ़ जाती हैं। राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन प्राधिकरण ने इन्हीं वैज्ञानिक संकेतों के आधार पर यह चेतावनी जारी की है।
प्रभावित जिले: क्या हैं विशेष खतरे?
हरदोई
हरदोई जिला एक कृषि प्रधान क्षेत्र है और वहां बड़ी संख्या में किसान खेतों में काम करते हैं। राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन प्राधिकरण ने यहां के प्रशासन को सतर्क रहने और खेतों में माइक से अलर्ट प्रसारित करने की सलाह दी है।
लखीमपुर-खीरी
यह क्षेत्र दलदली भूमि और जंगलों के लिए जाना जाता है। आंधी और बारिश के साथ बिजली गिरने से वन्यजीवों और ग्रामीणों को खतरा है। राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन प्राधिकरण ने बिजली गिरने की संभावना को लेकर वन विभाग को भी अलर्ट किया है।
शाहजहांपुर
शहर में कई पुराने भवन और ढांचागत कमजोर निर्माण हैं। तेज़ आंधी इन संरचनाओं के लिए खतरा बन सकती है। राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन प्राधिकरण ने नगरपालिका को तुरंत निरीक्षण और आवश्यक कार्रवाई के निर्देश दिए हैं।
सीतापुर
यहां कई झीलें और जलाशय हैं। राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन प्राधिकरण ने बाढ़ की आशंका से इंकार नहीं किया है और जलस्तर पर विशेष निगरानी रखने को कहा है।
राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन प्राधिकरण की नागरिकों के लिए सलाह
1. खुले में न रहें
अगर आप खेतों में हैं, तो तुरंत पक्के मकान में जाएं। बिजली गिरने की घटनाएं खेतों और ऊंची जगहों पर ज्यादा होती हैं।
2. मोबाइल और इलेक्ट्रॉनिक डिवाइस से दूरी बनाए रखें
बिजली गिरने की स्थिति में मोबाइल और बिजली से चलने वाले उपकरणों का प्रयोग कम करें।
3. पेड़ों के नीचे शरण न लें
बिजली अक्सर ऊंचे पेड़ों पर गिरती है। ऐसे में उनके नीचे खड़ा होना खतरे से खाली नहीं है।
4. प्रशासनिक दिशा-निर्देशों का पालन करें
स्थानीय प्रशासन और राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन प्राधिकरण की ओर से जारी दिशा-निर्देशों का पालन करें।
प्रशासन की तैयारी और कार्रवाई
प्रत्येक जिला मजिस्ट्रेट को राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन प्राधिकरण द्वारा विशेष दिशा-निर्देश जारी किए गए हैं। राज्य आपदा मोचन बल (SDRF) और स्थानीय पुलिस को तैयार रखा गया है। राहत शिविरों की पहचान कर ली गई है और विद्युत विभाग को तुरंत विद्युत आपूर्ति रोकने के निर्देश दिए गए हैं, यदि हालात बिगड़ते हैं।
तकनीकी साधनों से निगरानी
राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन प्राधिकरण अब अत्याधुनिक डॉपलर रडार सिस्टम और उपग्रह चित्रों की मदद से मौसम पर निगरानी रख रहा है। इससे चेतावनी का समय और सटीकता दोनों में सुधार हुआ है।
- राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन नियंत्रण कक्ष: 011-26701728
- राज्य आपदा नियंत्रण कक्ष: 0522-2237515
- बिजली विभाग हेल्पलाइन: 1912
- नजदीकी थाना और एंबुलेंस: 112
इस समय उत्तर प्रदेश के नागरिकों को गंभीरता से सावधानी बरतनी चाहिए। राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन प्राधिकरण की चेतावनी कोई साधारण मौसम पूर्वानुमान नहीं, बल्कि एक संभावित आपदा से पूर्व सतर्कता है। यदि हम अलर्ट को गंभीरता से लें, तो कई जान-माल की हानि रोकी जा सकती है। प्रशासन तैयार है, अब नागरिकों को भी सजग रहना होगा।