हाइलाइट्स
- केंद्रीय सरकारी कर्मचारियों को लेकर महंगाई भत्ता बढ़ाने की तैयारी, स्वतंत्रता दिवस से पहले हो सकता है बड़ा ऐलान
- 8वें वेतन आयोग के गठन की प्रक्रिया को लेकर तेजी, 7वें वेतन आयोग की मियाद 31 दिसंबर 2025 को होगी पूरी
- 50 लाख से ज्यादा कर्मचारी और 62 लाख पेंशनधारक बढ़ी सैलरी के इंतजार में
- फिटमेंट फेक्टर 2.46 तक बढ़ सकता है, जिससे ₹18,000 बेसिक पाने वालों की सैलरी हो सकती है ₹44,280
- डीए, एचआरए और टीए जैसे भत्तों के बढ़ने से कुल सैलरी में 50% तक हिस्सेदारी
नई दिल्ली। केंद्रीय सरकारी कर्मचारियों के लिए आने वाला समय कई मायनों में निर्णायक साबित हो सकता है। मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, मोदी सरकार आगामी 15 अगस्त 2025 से पहले महंगाई भत्ता बढ़ाने की घोषणा कर सकती है। इसके साथ ही, 8वें वेतन आयोग के गठन की प्रक्रिया भी रफ्तार पकड़ सकती है। ऐसे में लाखों कर्मचारियों और पेंशनधारकों की नजरें सरकार के अगले कदम पर टिकी हैं।
क्यों अहम है महंगाई भत्ता का बढ़ना?
महंगाई भत्ता सरकारी कर्मचारियों की सैलरी का अहम हिस्सा है। यह उनके जीवन-यापन की लागत को ध्यान में रखते हुए हर 6 महीने में संशोधित किया जाता है। कंज्यूमर प्राइस इंडेक्स (CPI) के आधार पर तय किए जाने वाले इस भत्ते में इजाफा, कर्मचारियों की कुल सैलरी में सीधे तौर पर बढ़ोतरी करता है।
सूत्रों के अनुसार, जुलाई 2025 की डीए समीक्षा पर भले ही अभी तक कोई आधिकारिक बयान नहीं आया है, लेकिन स्वतंत्रता दिवस से पहले इस पर बड़ा ऐलान संभव है। महंगाई भत्ता बढ़ने से कर्मचारियों की मासिक आय में उल्लेखनीय वृद्धि हो सकती है, जिससे उनकी क्रय शक्ति भी बढ़ेगी।
8वें वेतन आयोग की प्रक्रिया में तेजी के संकेत
7वें वेतन आयोग का कार्यकाल अंतिम चरण में
7वें वेतन आयोग की अवधि 31 दिसंबर 2025 को समाप्त हो रही है। ऐसे में 8वें वेतन आयोग के गठन की संभावनाएं प्रबल हो गई हैं। हालांकि जनवरी 2024 में सरकार ने 8वें वेतन आयोग के गठन की घोषणा कर दी थी, लेकिन अभी तक अध्यक्ष की नियुक्ति नहीं हो पाई है।
50 लाख कर्मचारियों और 62 लाख पेंशनर्स की उम्मीदें
देशभर में करीब 50 लाख केंद्रीय कर्मचारी और 62 लाख पेंशनर्स हैं, जो महंगाई भत्ता और नए वेतन आयोग को लेकर बेहद आशान्वित हैं। वे बेहतर सैलरी स्ट्रक्चर और जीवन स्तर की दिशा में सुधार की अपेक्षा कर रहे हैं।
महंगाई भत्ता और सैलरी स्ट्रक्चर का गणित
डीए, एचआरए और टीए का योगदान
सरकारी सैलरी सिर्फ बेसिक सैलरी पर आधारित नहीं होती है। इसमें महंगाई भत्ता, हाउस रेंट अलाउंस (एचआरए), और ट्रेवल अलाउंस (टीए) जैसी कई सुविधाएं शामिल होती हैं। बीते वर्षों में भत्तों की हिस्सेदारी कुल वेतन में 50% तक पहुंच चुकी है।
महंगाई भत्ता के साथ क्या बदलेगा?
अगर महंगाई भत्ता 4% तक बढ़ता है, जैसा कि रिपोर्ट्स में दावा किया जा रहा है, तो ₹18,000 की बेसिक सैलरी वाले कर्मचारी को हर महीने लगभग ₹720 ज्यादा मिल सकते हैं। साथ ही अन्य भत्तों में भी अनुपातिक रूप से इजाफा होगा।
फिटमेंट फेक्टर और सैलरी हाइक की उम्मीदें
7वें वेतन आयोग में 2.57 था फिटमेंट फेक्टर
फिटमेंट फेक्टर वह गुणांक है जो किसी कर्मचारी की कुल सैलरी निर्धारित करने में मुख्य भूमिका निभाता है। 7वें वेतन आयोग में यह 2.57 निर्धारित किया गया था। वहीं, 8वें वेतन आयोग में इसे 1.83 से 2.46 के बीच रखा जा सकता है।
यदि सरकार 2.46 फिटमेंट फेक्टर को हरी झंडी देती है, तो ₹18,000 की बेसिक सैलरी वाला कर्मचारी सीधे ₹44,280 प्रति माह तक पहुंच सकता है। यह वेतन वृद्धि कर्मचारियों के मनोबल और वित्तीय स्थिरता में बड़ा योगदान देगी।
राजनीतिक और आर्थिक नजरिया
2026 के लोकसभा चुनाव से पहले बड़ा दांव?
राजनीतिक विश्लेषकों का मानना है कि 2026 में होने वाले लोकसभा चुनावों को देखते हुए सरकार यह बड़ा कदम उठा सकती है। महंगाई भत्ता बढ़ाना और 8वें वेतन आयोग को सक्रिय करना, मध्यम वर्ग और सरकारी कर्मचारियों को साधने का एक रणनीतिक कदम हो सकता है।
सरकार की ओर से क्या संकेत?
अब तक सरकार की ओर से महंगाई भत्ता या वेतन आयोग को लेकर कोई आधिकारिक अधिसूचना जारी नहीं की गई है, लेकिन वित्त मंत्रालय के सूत्रों का कहना है कि 15 अगस्त से पहले डीए हाइक और आयोग गठन पर कार्यवाही की जा सकती है।
कर्मचारियों के लिए सुनहरा मौका
केंद्रीय कर्मचारियों के लिए यह आने वाला हफ्ता बेहद अहम साबित हो सकता है। अगर सरकार महंगाई भत्ता बढ़ाने के साथ-साथ 8वें वेतन आयोग के गठन की घोषणा करती है, तो यह लाखों कर्मचारियों और पेंशनर्स के लिए राहतभरी खबर होगी। आने वाले दिनों में स्थिति और स्पष्ट होगी, लेकिन फिलहाल तो उम्मीदों का बाजार गर्म है।