BEO की नौकरी में अब नहीं चलेगी चालाकी! बदले नियमों ने रोक दिए ‘समकक्ष डिग्री’ वालों के रास्ते

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हाइलाइट्स

  • खंड शिक्षा अधिकारी भर्ती की प्रक्रिया में बड़ा बदलाव, समकक्ष डिग्री धारक अब नहीं कर सकेंगे आवेदन
  • राज्यपाल की मंजूरी के बाद जारी हुई संशोधित नियमावली 1992, भर्ती प्रक्रिया होगी पारदर्शी
  • BEO के 134 पदों पर भर्ती के लिए अधियाचन पहले ही भेजा जा चुका है यूपीपीएससी को
  • NCTE से मान्यता प्राप्त बीएड डिग्री को ही अब माना जाएगा अधिमानी योग्यता
  • 2019 के बाद पहली बार BEO भर्ती प्रक्रिया को लेकर युवाओं में उत्साह

क्या है मामला?

उत्तर प्रदेश में सरकारी नौकरी की तैयारी कर रहे युवाओं के लिए अब एक नया रास्ता खुल गया है। बेसिक शिक्षा विभाग ने खंड शिक्षा अधिकारी भर्ती को लेकर उत्तर प्रदेश शैक्षिक (सामान्य शिक्षा संवर्ग) सेवा नियमावली 1992 में संशोधन कर दिया है। इस संशोधन को राज्यपाल की मंजूरी भी प्राप्त हो गई है, जिसके बाद इसे औपचारिक रूप से लागू कर दिया गया है।

इस कदम से न सिर्फ भर्ती प्रक्रिया में पारदर्शिता बढ़ेगी, बल्कि वर्षों से चली आ रही कानूनी पेचिदगियों को भी समाप्त किया जा सकेगा।

क्यों हुआ नियमों में बदलाव?

समकक्ष डिग्री पर विवाद

पूर्व की नियमावली में “स्नातकोत्तर उपाधि या समकक्ष उपाधि” को पात्रता माना गया था। इस प्रावधान के तहत कई अभ्यर्थी अपनी डिग्री को “समकक्ष” बताकर आवेदन करते थे। परिणामस्वरूप, भर्ती के बाद कई बार मामले न्यायालय तक पहुंच जाते थे, जिससे न केवल भर्ती प्रक्रिया बाधित होती थी, बल्कि चयनित अभ्यर्थियों का भविष्य भी अधर में लटक जाता था।

अब संशोधित नियमों में “समकक्षता” शब्द को हटाकर यह स्पष्ट कर दिया गया है कि केवल मान्यता प्राप्त विश्वविद्यालयों से प्राप्त स्नातकोत्तर उपाधि ही मान्य होगी। इससे खंड शिक्षा अधिकारी भर्ती में अयोग्य या विवादास्पद अभ्यर्थियों की संभावना खत्म हो जाएगी।

अधिमानी योग्यता में क्या है बदलाव?

बीएड को ही मिलेगा प्राथमिकता

पहले की नियमावली में अधिमानी अर्हता के रूप में एलटी डिप्लोमा, बीटीसी, बीएड या समकक्ष डिग्री को शामिल किया गया था। लेकिन अब संशोधित नियमों में एलटी डिप्लोमा और बीटीसी को हटाया गया है। केवल वही अभ्यर्थी अधिमानी माने जाएंगे जिनके पास NCTE से मान्यता प्राप्त संस्थान से बीएड डिग्री होगी।

इस निर्णय से यह स्पष्ट होता है कि शिक्षा विभाग अब एक गुणवत्ता आधारित चयन प्रणाली को अपनाना चाहता है, जिसमें शिक्षा की न्यूनतम गुणवत्ता मानक सुनिश्चित किए जा सकें।

कितने पदों पर होगी भर्ती?

खंड शिक्षा अधिकारी भर्ती को लेकर 134 रिक्त पदों का अधियाचन उत्तर प्रदेश लोक सेवा आयोग (UPPSC) को पहले ही भेजा जा चुका है। अब संशोधित नियमावली के भी आयोग तक पहुंचने के बाद, यह लगभग तय माना जा रहा है कि जल्द ही नया भर्ती विज्ञापन जारी किया जाएगा।

गौरतलब है कि इससे पूर्व वर्ष 2019 में आयोग द्वारा 309 पदों पर खंड शिक्षा अधिकारी भर्ती प्रक्रिया पूरी की गई थी। इसके बाद से युवाओं को लंबे समय से अगली भर्ती का इंतज़ार था।

युवाओं में बढ़ी उम्मीदें

इस नई नियमावली के आने से BEO की तैयारी कर रहे युवाओं में उत्साह की लहर है। कई अभ्यर्थियों का कहना है कि यह फैसला लंबे समय से अपेक्षित था और अब जब सरकार ने इसे लागू कर दिया है, तो वे पूरी तैयारी के साथ आगामी परीक्षा का सामना करेंगे।

तैयारी करने वालों के लिए सुझाव:

  • अब सिर्फ मान्यता प्राप्त विश्वविद्यालय से स्नातकोत्तर डिग्री प्राप्त करना अनिवार्य है।
  • बीएड डिग्री के बिना अधिमानी स्थिति नहीं मिलेगी, इसलिए यदि आपने बीटीसी या एलटी किया है, तो आपको अन्य सामान्य अभ्यर्थियों की तरह ही माना जाएगा।
  • UPPSC की वेबसाइट पर नियमित रूप से अपडेट देखते रहें क्योंकि भर्ती विज्ञापन कभी भी आ सकता है।

क्या कहता है शिक्षा विभाग?

शिक्षा विभाग के एक वरिष्ठ अधिकारी ने नाम न बताने की शर्त पर बताया कि,

“यह संशोधन वर्षों से लंबित था। हर भर्ती में समकक्षता को लेकर विवाद खड़ा हो जाता था। अब चीजें ज्यादा पारदर्शी होंगी। साथ ही, BEO जैसे ज़िम्मेदार पद पर केवल वही व्यक्ति नियुक्त हो पाएंगे जिनके पास स्पष्ट योग्यता और शिक्षक प्रशिक्षण है।”

खंड शिक्षा अधिकारी भर्ती को लेकर उत्तर प्रदेश सरकार का यह निर्णय कई मायनों में ऐतिहासिक है। इससे न केवल भर्ती प्रक्रिया में गुणवत्ता और पारदर्शिता आएगी, बल्कि योग्य और प्रशिक्षित शिक्षकों को ही नियुक्ति मिलने का मार्ग प्रशस्त होगा।

यदि आप भी इस परीक्षा की तैयारी कर रहे हैं, तो अब समय है सिलेबस को दोहराने, पुराने पेपर हल करने और तैयारी को अंतिम रूप देने का। जल्द ही जब UPPSC भर्ती अधिसूचना जारी करेगा, तो आप पहले से तैयार होंगे।

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